"ब्रिटेन की साउथैम्प्टन यूनिवर्सिटी भारत में खोलेगी अपना पहला कैंपस, 2025 से ग्लोबल डिग्री पाने का मिलेगा नया मौका!"
ब्रिटेन की **साउथेम्प्टन यूनिवर्सिटी** ने भारत में अपना पहला कैंपस खोलने की घोषणा की है, जो *गुरुग्राम* में स्थित होगा। यह कैंपस भारतीय उच्च शिक्षा के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर है, क्योंकि यह भारत में किसी विदेशी विश्वविद्यालय का पहला पूर्ण विकसित कैंपस होगा। कैंपस का विवरण साउथेम्प्टन यूनिवर्सिटी का भारतीय कैंपस जुलाई 2025 से पढ़ाई शुरू करने की योजना बना रहा है। यह कैंपस उच्च गुणवत्ता की शिक्षा प्रदान करेगा और यहाँ पर विभिन्न विषयों के पाठ्यक्रम उपलब्ध होंगे, जैसे: बिजनेस मैनेजमेंट कंप्यूटर साइंस कानून इंजीनियरिंग आर्ट्स और डिज़ाइन जैव विज्ञान और जीवन विज्ञान डिग्री की वैल्यू यूनिवर्सिटी ग्रांट्स कमीशन (UGC) के अध्यक्ष प्रो. एम. जगदीश कुमार ने बताया कि इस कैंपस में दी जाने वाली डिग्रियाँ ब्रिटेन के साउथेम्प्टन विश्वविद्यालय के बराबर होंगी। इसका मतलब है कि छात्रों को वैश्विक स्तर पर मान्यता प्राप्त डिग्री मिलेगी, जिससे उन्हें अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रोजगार के अवसर मिल सकेंगे। निवेश और शुल्क संरचना इस कैंपस के लिए महत्वपूर्ण निवेश किया जाएगा, हालांकि शुल्क संरचना अभी तक पूरी तरह से स्पष्ट नहीं हुई है। लेकिन यह उम्मीद की जा रही है कि भारतीय छात्रों के लिए ट्यूशन फीस UK में अध्ययन करने वाले छात्रों की तुलना में कम होगी। शैक्षणिक सहयोग यह कैंपस न केवल भारतीय छात्रों को बल्कि विदेशी छात्रों को भी अध्ययन करने का अवसर प्रदान करेगा। इससे ब्रिटेन के छात्र भी भारत में रहकर साउथेम्प्टन यूनिवर्सिटी से पढ़ाई कर सकेंगे। भविष्य की योजनाएँ साउथेम्प्टन यूनिवर्सिटी ने अगले कुछ वर्षों में 100 से अधिक डिग्री कोर्स शुरू करने की योजना बनाई है। इसके अलावा, अन्य विदेशी विश्वविद्यालयों के भारत में कैंपस स्थापित करने की संभावनाएँ भी बढ़ रही हैं, जिससे भारतीय उच्च शिक्षा प्रणाली में एक नया आयाम जुड़ सकता है। इस पहल का उद्देश्य न केवल उच्च गुणवत्ता की शिक्षा प्रदान करना है, बल्कि भारत और ब्रिटेन के बीच शैक्षणिक संबंधों को मजबूत करना भी है। साउथेम्प्टन विश्वविद्यालय का यह कदम भारतीय छात्रों के लिए नए अवसरों का द्वार खोलेगा और उन्हें वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धा करने में सक्षम बनाएगा।

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